सिख विरोधी दंगों के 37 साल बाद कानपुर से 4 आरोपी गिरफ्तार

कानपुर  (मानवीय सोच)  1984 में भड़के सिख दंगे में किदवई नगर थाने में दर्ज हत्या और डकैती के मामले में एसआईटी ने चार आरोपितों को बुधवार को घाटमपुर से गिरफ्तार कर लिया है। इन चारों को न्यायालय में पेश कर जेल भेजा गया है। गिरफ्तार करने वाली टीम को 50 हजार के इनाम की घोषणा की गई है।
निराला नगर में एक नवंबर 1984 को दंगाइयों ने एक इमारत में आग लगा दी थी जिसमे एक दर्जन से अधिक सिख परिवार रहते थे। घटना हो जाने के बाद पड़ोसी वीरेंद्र सिंह ने किदवई नगर थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई थी। डीआईजी एसआईटी बालेंदु भूषण सिंह ने बताया की घटना में चार सिखों की हत्या हुई थी। सरदार रक्षपाल सिंह और भूपेंद्र सिंह को तीन मंजिला इमारत की छत से नीचे फेक दिया गया था। वहीं, गुरुदयाल सिंह भाटिया के बेटे सतवीर सिंह भाटिया को गोली मारी गई थी। भीड़ ने घर में घुस कर डकैती डाली और आग के हवाले कर दिया था। इसके बाद पड़ोसी वीरेंद्र सिंह ने किदवई नगर थाना में रिपोर्ट दर्ज कराई। डीआईजी एसआईटी ने बताया कि इस मामले में 28 आरोपितो को चिन्हित किया गया। जिसमे घाटमपुर से चार आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया है।
इनकी हुई गिरफ्तारी
शिवपुरी घाटमपुर निवासी सफीउल्ला (64), जलाला घाटमपुर निवासी योगेंद्र सिंह उर्फ बब्बन बाबा (65), वेंदा घाटमपुर निवासी विजय नारायण सिंह उर्फ बच्चन सिंह (62) और अब्दुल रहमान उर्फ लंबू (65)। डीआईजी के मुताबिक अन्य आरोपियों की तलाश जारी है।

 

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